आखिर अतिक्रमणकारीयो पर मेहरबान क्यो है नगरपालिका...
जैतारण(आईबीखांन)।
जैतारण में द्रोपती के चीर की तरह बढ रहे अवैध अतिक्रमणो पर प्रभावी अंकुश लगाने में अपनी नगरपालिका फिलहाल नाकाम साबित हो रही है।पालिका के नाक के नीचे दिन ब दिन हो रहे अतिक्रमण पर नगर पालिका आखिर क्यो नही कार्यवाही कर पा रही है यह तो नगरपालिका ही जाने,लेकिन इन अतिक्रमणकारीयो ने जगह जगह अतिक्रम करने से शहर का हूलिया बदल गया है।राज्य सरकार हर साल अवैध अतिक्रमण हटाने के लिए भले ही फरमान जारी करती हो मगर अपनी पालिका इन फरमानो पर अमल नही कर पा रही है।शहर में इस बात की चर्चा है कि पालिका के रहमो करम से ही यहां प्रभावशाली लोग अवैध अतिक्रमण कर रातो रात तामीर ए मंजिल खडी कर रहे है,लेकिन पालिका प्रशासन मूकदर्शक बन जाती है,ऐसा भी नही की यहां के जागरूक लोग इनकी शिकायते नही करते है,लेकिन उनकी शिकायतो पर कभी कोई गौर ही नही किया जाता है।शहर अवैध अतिक्रमणो का आलम यह है कि यहां के लोग एक दूसरो की देखा देखी मे अतिक्रमण पर अतिक्रण करते जा रहे है,मगर पालिका प्रशासन इस दिशा मे तनिक भी ध्यान नही दे पा रही है।हैरत की बात तो यह है कि जैतारण मे कई प्रभावशाली लोगो के साथ साथ कुछ जनप्रतिनिधि भी इसमें पीछे नही है।शहर मे यदि अवैध अतिक्रमणो को चिन्हित कर उनके खिलाफ कार्यवाही की जाय तो सैकड़ो ऐसे अतिक्रमण मिल तो जाएगे,लेकिन उनको हटाने के लिए पालिका को समय नही मिलेगा।ऐसा भी नही की पालिका बोर्ड को अवैध अतिक्रमण हटाने की शक्तियां नही है यहां कानूनन बोर्ड को वे सभी शक्तियां मिली हुई है,लेकिन एक इच्छाशक्ति की कमी ने इस शहर की दशा और दिशा दोनो ही बिगाड़कर रख दी है।मुझे यू तो किसी के बारे तारीफो के पूल बांधने नही आते,लेकिन फिर भी तारीफ करनी होगी पूर्व नगरपालिकाध्यक्ष भैणाराम गहलोत की जिन्होने अपने कार्यकाल में भारी विरोध के बावजूद अवैध अतिक्रमणकारीयो पर एक अभियान चलाकर ऐसा शिकंजा कसा जिसे लोग आज भी याद करते है...!मगर उनके बाद पिछले सात-आठ सालो मे ऐसा अभियान नही चला,जिसका परिणाम यह हुआ की जैतारण मे अवैध अतिक्रमण द्रोपती के चीर की मानिद बढता ही गया।जैतारण शहर मे शायद ही कोई ऐसी जगह होगी जहां अवैध अतिक्रमण से अछूती हो।बहरहाल अवैध अतिक्रमणकारीयो पर पालिका के व्दारा सख्ती नही इख्तियार करने से जैतारण मे इसकी बाढ सी आई हुई है...9413063300
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